लखनऊ -मैं ईस्वर की शपथ लेता हूँ कि बिना किसी राग द्वेष के कार्य करूँगा इस बात की शपथ प्रत्येक मुख्यमंत्री अपने पद को धारण करते हुए लेता है लेकिन इसको जब कार्य रूप में लाना होता है तो ऐसा होता नहीं है माना जाता है की मुख्यमंत्री किसी पार्टी का न होकर राज्य की जनता का चुना हुआ प्रतिनिधि होता है लेकिन उत्तर प्रदेश में जिस तरह से एक अधिकारी के साथ इन दिनों हो रहा है वह अब सरकार के लिए भी मुश्किलें पैदा कर सकता है ।
अमिताभ ठाकुर आई पी एस को सी एम् आवास के सामने जमीं पर बैठ कर अपने निलंबन को ख़त्म करने के लिए गुहार लगानी पड़ी उनकी पीड़ा यह है की एक अधिकारी को डी के ठाकुर को एक बुजुर्ग को थप्पड़ मारने के आरोप में निलंबित किया गया और 15 दिनों में ही बहाल कर दिया गया जबकि 8 महीने बीत जाने के बाद भी उन्हें बहाल नहीं किया गया ।
सवाल एक अधिकारी का नहीं उस व्यवस्था का है जहाँ न्याय और कानून व्यवस्था के लिए सरकार बड़े से बड़ा कदम उठाने का दावा करती है लेकिन उसी जगह एक अधिकारी को रोड पर बैठना पड़ रहा है ।
10th March, 2016