लखनऊ:-
राजधानी लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पर चूहों के भारी संख्या के कारण लाखों का नुकसान होता आया है। इस आंतक से रेलवे विभाग काफी परेशान है। चूहों की वजह से हो रहे लाखों रुपये के नुकसान से बचने के लिये अब रेलवे ने इन्हें मारने के लिए एक निजी कंपनी को 4.76 लाख रुपये का ठेका दिया है। यह कंपनी अगले महीने से ही अपना काम शुरू करेगी। इस संदर्भ में रेलवे के वरिष्ठ वाणिज्य प्रबंधक अजित कुमार सिन्हा का कहना है कि हमने एक निजी कंपनी को चूहे मारने का ठेका दिया है काम जल्द शुरू होगा लेकिन इसके लिए कोई समय सीमा नहीं है।
होता है लाखों का नुकसान-
- रेलवे के मुताबिक पिछले एक वर्ष में प्लेटफॉर्म पर मौजूद विक्रेताओं को इनसे लगभग 10 लाख रुपये का नुकसान हुआ है।
- चूहों ने रेलवे के दस्तावेजों को भी कुतर दिया है। यात्री भी चूहों से परेशान हैं।
- तीन वर्षो में दूसरी बार इन्हें मारने के लिए किसी कंपनी को ठेका दिया गया है।
- चारबाग रेलवे स्टेशन के विक्रेताओं का कहना है कि इनके बिल इतने बड़े हैं कि ये प्लेटफार्म नंबर 2 से घुसते हैं तो 5 से निकलते हैं।
- इसलिए इन्हें यहां से हटा पाना बेहद मुश्किल हो रहा है।
राजधानी लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पर चूहों के भारी संख्या के कारण लाखों का नुकसान होता आया है। इस आंतक से रेलवे विभाग काफी परेशान है। चूहों की वजह से हो रहे लाखों रुपये के नुकसान से बचने के लिये अब रेलवे ने इन्हें मारने के लिए एक निजी कंपनी को 4.76 लाख रुपये का ठेका दिया है। यह कंपनी अगले महीने से ही अपना काम शुरू करेगी। इस संदर्भ में रेलवे के वरिष्ठ वाणिज्य प्रबंधक अजित कुमार सिन्हा का कहना है कि हमने एक निजी कंपनी को चूहे मारने का ठेका दिया है काम जल्द शुरू होगा लेकिन इसके लिए कोई समय सीमा नहीं है।
- रेलवे के मुताबिक पिछले एक वर्ष में प्लेटफॉर्म पर मौजूद विक्रेताओं को इनसे लगभग 10 लाख रुपये का नुकसान हुआ है।
- चूहों ने रेलवे के दस्तावेजों को भी कुतर दिया है। यात्री भी चूहों से परेशान हैं।
- तीन वर्षो में दूसरी बार इन्हें मारने के लिए किसी कंपनी को ठेका दिया गया है।
- चारबाग रेलवे स्टेशन के विक्रेताओं का कहना है कि इनके बिल इतने बड़े हैं कि ये प्लेटफार्म नंबर 2 से घुसते हैं तो 5 से निकलते हैं।
- इसलिए इन्हें यहां से हटा पाना बेहद मुश्किल हो रहा है।
20th August, 2016