यूरिड मीडिया डेस्क
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डीएम ऑफिस में तैनात एक चपरासी ने लखनऊ विकास प्राधिकरण (एलडीए) में नौकरी दिलाने का झांसा देकर दर्जनों लोगों से करोड़ों की ठगी की. डीएम कार्यालय में तैनात चपरासी अवनीश कुमार राणा को सोमवार को कृष्णानगर कोतवाली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया.
बता दें दिसम्बर 2016 में पीड़ितों ने अवनीश और उसकी पत्नी समेत छह लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज करवाया था. छह महीने की विवेचना के बाद पुलिस ने अवनीश के खिलाफ लगे आरोपों को सही पाया जबकि अन्य के खिलाफ जांच जारी है.
पुलिस का दावा है कि अवनीश और उसके साथियों ने डेढ़ करोड़ से अधिक की ठगी की है. इंस्पेक्टर रविन्द्र नाथ राय ने बताया कि 23 दिसम्बर 2016 को सरोजिनीनगर के बेहसा गांव निवासी तरन्नुम ने अवनीश समेत अन्य लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था.
तरन्नुम ने आरोप लगाया था कि वर्ष 2015 में उसके परिचित अजय ने उसकी मुलाकात कृष्णानगर में रहने वाले अवनीश व उसकी पत्नी रेखा सहित कुछ लोगों से कराई थी. तरन्नुम के मुताबिक अवनीश खुद को जिलाधिकारी दफ्तर में तैनात सहायक अधिकारी बताता था. उसकी पत्नी रेखा ने भी खुद को सचिवालय कर्मी बताया था. दोनों ने एलडीए में नौकरी लगवाने का दावा किया था. जिसके बाद तरन्नुम ने अपने बड़े बेटे की नौकरी लगाने की बात उनसे कही. इसके एवज में उन्होंने उससे पांच लाख रुपए की डिमांड रखी. तरन्नुम में एडवांस के तौर पर उन्हें दो लाख रुपए दे दिए. इसके बाद आरोपियों ने तरन्नुम के बेटे का फर्जी मेडिकल करवाया और अस्थायी नौकरी का का फर्जी प्रमाण पत्र दे दिया. जिसके बाद आरोपियों ने उससे शेष तीन लाख रुपए की मांग की. स्थायी नौकरी का नियुक्ति पत्र मांगने पर उसे टरकाया जाने लगा. जब उसका बेटा नियुक्ति पत्र लेकर एलडीए दफ्तर पहुंचा तो अधिकारीयों ने इसे फर्जी करार दे दिया.
25th July, 2017