नई दिल्ली। हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रशांत किशोर से मुलाकात हुई है, ऐसे में माना जा रहा है कि एक बार फिर से दोनों मिलकर 2019 के लोकसभा चुनावों में पार्टी के लिए रणनीति बना सकते हैं। इस पूरे मामले की जानकारी रखने वाले पार्टी के एक शीर्ष सूत्र का कहना है कि पीके और मोदी की पिछले महीने मुलाकात हुई है और संभव है कि वह 2019 के लोकसभा चुनाव में भाजपा की चुनावी रणनीति बनाएं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की वर्ष 2014 में शानदार जीत के पीछे चुनावों के रणनीतिकार प्रशांत किशोर का बड़ा हाथ माना जाता है। लेकिन 2014 के चुनावों के बाद पहले वह बिहार में नीतीश कुमार के रणनीतिकार बने और इसके बाद उन्होंने राहुल गांधी के लिए रणनीति बनाई। लेकिन जिस तरह से उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनावों में पार्टी को मुंह की खानी पड़ी उसके बाद से पीके पर सवाल खड़े होने लगे थे। ऐसे में एक बार फिर से प्रशांत किशोर टीम मोदी के साथ वापस लौट सकते हैं।
अमित शाह से हुई मुलाकात प्रशांत किशोर ने नरेंद्र मोदी के साथ 2012 के गुजरात चुनाव व 2014 के लोकसभा चुनावों में मिलकर काम किया है। लेकिन पीके और मोदी के बीच दूरी की वजह से उन्होंने भाजपा के लिए काम करने से इनकार कर दिया और वह बिहार में महागठबंधन के सूत्रधार बने, जिसके चलते यहां भाजपा को हार का सामना करना पड़ा। इन सब के बीच पीके और पीएम मोदी पिछले तकरीबन छह महीनों से आपस में संपर्क में हैं, जिसमे आगामी चुनाव को लेकर दोनों के बीच बातचीत हुई है। जानकारी के अनुसार पीके ने अमित शाह के साथ ही मुलाकात की है। सूत्रों की मानें तो पीके के साथ अमित शाह के मनमुटाव की वजह से प्रशांत किशोर भाजपा से अलग हुए थे।
26th February, 2018