उत्तर प्रदेश में लोकसभा उपचुनाव के बाद अब बीजेपी और समाजवादी पार्टी के सामने राज्यसभा में अपने उम्मीदवारों को जिताने की चुनौती सामने आ गयी है और दोनों ही बड़ी पार्टियों ने अपने विधायकों को डिनर पर बुलाया है। योगी आदित्यनाथ ने मुख्यमंत्री वाले बंगले पर दावत दी है वहीँ अखिलेश यादव की पार्टी के विधायक, लखनऊ के होटल ताज में भोजन करेंगे। खाना तो बहाना है, मुद्दा राज्य सभा चुनाव को लेकर चर्चा करना है। गोरखपुर और फूलपुर में जीतने के बाद समाजवादी पार्टी के हौसले सातवें आसमान पर है । बीजेपी की चिंता अपनी साख बचाने की है तो अखिलेश यादव को फिक्र मायावती से किये वादे की है। लोकसभा के उपचुनाव में बीएसपी ने समाजवादी पार्टी का समर्थन किया। बुआ के सहयोग से भतीजे की पार्टी ने गोरखपुर और फूलपुर सीट जीत ली। अब बात बुआ को रीटर्न गिफ्ट देने ही है।
सीएम योगी आदित्यनाथ और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या के इस्तीफे से यहां चुनाव हुए थे। 19 विधायकों वाली बीएसपी ने भीमराव अंबेडकर को राज्य सभा का टिकट दिया है। केंद्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली समेत 8 नेता आसानी से चुन लिए जाएंगे। मामला अनिल अग्रवाल को लेकर फंसता नजर आ रहा है. बीजेपी को 9 अतिरिक्त वोटों का जुगाड़ करना पडेगा। पार्टी के एक बड़े नेता बताते है कि "हमने इंतजाम कर लिया है, एसपी और बीएसपी के भी कुछ लोग हमारा साथ दे रहे हैं ". यूपी से राज्य सभा की दस सीटों के लिए 23 मार्च को वोटिंग होगी।
योगी आदित्यनाथ के घर पर होने डिनर में सहयोगी पार्टियों सुहेलदेव समाज पार्टी और अपना दल के विधायकों को भी बुलाया गया है। गुजरात जैसी घटना ना हो इसीलिए एमएलए को ट्रेनिंग भी दी जाएगी कि अपना वोट कैसे करें। बीएसपी सुप्रीमो मायावती ने अपने घर पर विधायकों की मीटिंग 22 मार्च को बुलाई है।
21st March, 2018