लखनऊ, यूरिड मीडिया न्यूज। शिवपाल सिंह यादव ने अखिलेश यादव को पूरी तरह से चुनौती देने और अपमान का बदला लेने की पूरी तैयारी कर ली। प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के नाम से नया दल होगा। इस नये पार्टी के चुनाव चिन्ह में सभी 80 सीटों पर पीएसपी चुनाव लड़ेगी। मुलायम सिंह यादव के अखिलेश के साथ जाने से शिवपाल का रास्ता स्पष्ट होे गया है कि अब नाराज सपाईयों का बहुत बड़ा खेमा शिवपाल के साथ जुड़ता जा रहा है। सी.पी. राय को मीडिया का मुख्य प्रवक्ता बनाया गया है। सी.पी. राय जैसे कद्दावर नेता एवं मीडिया फ्रेन्डली जैसा अखिलेश के टीम में कोई भी प्रवक्ता नही है। इटवा के पूर्व सांसद रघुराज सिंह शाक्य के शिवपाल से जुड़ने से गृह जनपद में अखिलेश की चुनौती बढ़ गयी है। यह सीधा सा राजनीतिक गणित कि सपा बसपा का गठबन्धन होता है तो 2014 लोकसभा चुनाव में 31 सीटों पर सपा और 34 सीटों पर बसपा दूसरे स्थान पर रही। तीसरे स्थान पर सपा और बसपा के प्रत्याशी रहे है जिन संसदीय क्षेत्रों में सपा दूसरे स्थान पर थी वहां बसपा तीसरे स्थान है और जहां बसपा दूसरे स्थान पर वहां सपा तीसरे स्थान पर है। अगर सपा बसपा में चुनावी ताल-मेल होता है तो इन 65 सीटों पर एक ही प्रत्याशी चाहे वह सपा को हो या बसपा का चुनाव लड़ेगा। दूसरे प्रत्याशी जो सपा या बसपा के दूसरे और तीसरे स्थान पर रहे उन्हें टिकट नही मिलता तो वह भी गठबन्धन के खिलाफ ताल ठोकेंगे। शिवपाल की रणनीति गठबन्धन को निश्चित रूप से कमजोर करेंगी यही नही बसपा से नाराज बहुत सारे दलित संगठन शिवपाल के साथ जुड़ते जा रहे है। अभी तक शिवपाल की तरफ से जो सूची जारी की जा रही है तो उसमें छोटे-छोटे दलों के नाम शामिल है।
27th September, 2018